रिपोर्टर – राम बिलास
सिद्धार्थनगर। माधव प्रसाद त्रिपाठी मेडिकल कॉलेज के शिशु रोग विभाग में अब लैक्टेशन मैनेजमेंट यूनिट (मिल्क बैंक ) स्थापित की जाएगी। इससे नवजात शिशु गहन चिकित्सा ईकाई (एसएनसीयू) में बन जाने के बाद गंभीर रूप से बीमार बच्चों के इलाज में मदद मिलेगी।
एसएनसीयू में मिल्क बैंक बनाने का कार्य शुरू हो गया है। एक माह में यह कार्य पूरा हो जाएगा।
डॉक्टरों के अनुसार एसएनसीयू में एक माह उम्र तक के गंभीर रूप से बीमार बच्चों को भर्ती किया जाता है। इसमें जो बच्चे गंभीर होते हैं, उन्हें दूध पीने में कठिनाई होती है तो मां को दूध को नली या चम्मच से पिलाया जाता है। मिल्क बैंक में मशीन के माध्यम से मां का दूध निकाला जाएगा और सुरक्षित तरीके से रखा जाएगा। आवश्यकतानुसार प्रशिक्षित स्वास्थ्य कर्मी दूध को बच्चों को पिलाएंगे। फिलहाल गंभीर रूप से बीमार बच्चे को दूध पिलाने के लिए न बाहर लाना होगा और न ही मां को अंदर जाने की नौबत नहीं आएगी। इससे संक्रमण की आशंका कम होगी।
राष्ट्रीय स्वास्थ्य मिशन के अंतर्गत मिल्क बैंक बनाया जा रहा है। इसके लिए डीफ्रीजर,ओवन सहित अन्य उपकरण मंगा लिए गए हैं। फर्नीचर एवं म्युजिक सिस्टम भी आ गया है, अच्छे माहौल में माताएं दूध अपने बच्चे के लिए दूध निकाल सकेंगी। अच्छे माहौल में महिलाओं में हैप्पी हार्मोन बनता है।
वर्जन
लैक्टेशन मैनेजमेंट यूनिट का काम शुरू हो गया है। जल्द ही दो स्वास्थ्य कर्मियों को प्रशिक्षण होगा। इससे गंभीर रूप से बीमार बच्चों के इलाज में मदद मिलेगी। मां के दूध को उन्हें नली के माध्यम से आहार दिया जाएगा।
डॉ. एके झा, प्राचार्य, मेडिकल कॉलेज