खनन माफियाओं के हौसले बुलंद,प्रशासन बनी मूकदर्शक
तहसील कर्मियों के भी मिट्टी खनन में भूमिका संदिग्ध
महराजगंज ।जिले के कोल्हुई थाना क्षेत्र में गेहूं की फसल कटने के बाद से ही अवैध खनन का कार्य तेज हो गया है। मिट्टी खनन माफिया थाने से महज 2 से 4 किलोमीटर की दूरी पर बिना कागजात के इस अवैध धंधे को अंजाम दे रहे हैं। जिस से प्रशासन जान बूझ कर अनभिज्ञ बनी हुई है ।परिणाम स्वरूप खनन माफिया रात के अंधेरे ही नहीं बल्कि दिन के उजाले में भी खुलेआम खनन कर रहे हैं।
कोल्हुई थाना क्षेत्र के कई ग्राम सभा मे मिट्टी की खनन जारी है। स्थानीय थाने से मात्र 4 किलोमीटर की दूरी के अंदर अवैध खनन कार्य हो रही है। खनन की सूचना मिलने के बाद भी प्रशासनिक अधिकारी एवं कर्मचारी मौके पर भी नहीं पहुंचते। जिससे स्पष्ट है कि कहीं न कहीं राजस्व विभाग के अधिकारियों और कर्मचारियों की मिलीभगत से अवैध खनन का कार्य खुलेआम चल रहा है। अगर सूत्रों की माने तो तहसील प्रशाशन तो हल्का लेखपाल को भेजता है। लेकिन बनी बनाई रकम के आगे लेखपाल अथवा तहसील कर्मी अपने आला अधिकारियों को इस खनन की सूचना न देकर कर उन्हे गुमराह कर देते हैं इससे स्थानीय पुलिस की भी भूमिका संदिग्ध है। जिससे पुलिस अपने ऊपर आंच से बचने की पूर्ण कोशिश में सफल हो जाती है ।जिस से आम जनमानस में कोल्हुई पुलिस के साथ जिले के संबंधित पुलिस अधिकारियों की छवि धूमिल होती दिख रही है।जब कि इस खनन कार्य में क्षेत्रीय पुलिस के साथ तहसील कर्मियों की संलिप्तता साफ जाहिर होता है।परिणाम स्वरूप खनन माफिया चैन की बंशी बजा रहे हैं।जो अज्ञानता का ढोंग कर उपजाऊ भूमि का खनन करने में सहयोगी की भूमिका में संलिप्त हैं।